कविता – “राखी”
भाई-बहिन के प्यार स्नेह का प्रेम समरसता का अलंकर है राखी आँखों में दुलार, कलाई सजा प्यार मन में उमड़ती प्रेम तरंग है राखी । सारा जीवन अटूट रिश्तों की डोर विश्वास- सम्मान का नाम है राखी धागे बंध जाए कलाई पर भाई के बहिन के लिए अटूट साँस है राखी । भाई के लिए…
